Medical Ki Padhai Hindi Me-2022 मध्यप्रदेश में अब मेडिकल की पढ़ाई अब हिन्दी में होगी, सीएम राइज स्कूल जावद में हिंदी में मेडिकल की पढ़ाई विषय पर हुई विचार संगोष्ठी
Medical Ki Padhai Hindi Me-2022 नीमच जिले में भी शनिवार को सभी शिक्षण संस्था एवं तकनीकी शिक्षण संस्थाओं में हिंदी में ज्ञान का प्रकाश कार्यक्रम हुआ। जिले के जावद के सीएम राइज स्कूल में हिंदी में मेडिकल की पढ़ाई विषय पर विचार गोष्ठी को संबोधित करते हुए एमएसएमई मंत्री श्री ओमप्रकाश सखलेचा ने कहा है कि मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान के नेतृत्व में मध्य प्रदेश देश में सबसे पहले हिंदी में मेडिकल की पढ़ाई शुरू करवा कर इतिहास रचने जा रहा है। मेडिकल शिक्षा पाठ्यक्रम की पुस्तकें हिंदी में हो जाने से अब विशेष रूप से ग्रामीण क्षेत्र के प्रतिभाशाली विद्यार्थियों को चिकित्सा शिक्षा की पढ़ाई के और अधिक अवसर प्राप्त होंगे।
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मंत्री श्री सखलेचा ने विद्यार्थियों को टेबलेट प्रदान करने की बात कही तथा स्कूल के कम्प्यूटर लैब के लिए अपनी ओर से 10 कम्प्यूटर सेट प्रदान करने की घोषणा की। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री श्री चौहान का मानना है कि मातृ-भाषा में समझ का स्तर काफी बढ़ जाता है। साथ ही मातृ-भाषा में पढ़ाई से छात्रों के आत्म-विश्वास में भी बढ़ोतरी होती है। हिंदी में मेडिकल की पढ़ाई प्रारंभ होने से ग्रामीण क्षेत्र के और भी ज्यादा बच्चे मेडिकल की पढ़ाई के लिए आकर्षित होंगे। बड़ी संख्या में छात्र-छात्राएँ और जन-प्रतिनिधि उपस्थित थे।
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हिन्दी में मेडिकल की पढ़ाई एक सामाजिक क्रांति – मुख्यमंत्री (Medical Ki Padhai Hindi Me-2022)
Medical Ki Padhai Hindi Me-2022 मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि प्रदेश में 16 अक्टूबर से देश में पहली बार एमबीबीएस की पढ़ाई हिन्दी में होगी। यह एक सामाजिक क्रांति है। अब गरीब, मध्यम वर्गीय और किसान के बेटा-बेटी भी हिन्दी में पढा़ई कर सकेंगे। मध्यप्रदेश इस दिन एक नया इतिहास रचने जा रहा है। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के संकल्प को पूरा करने की दिशा में मध्यप्रदेश आगे बढ़ रहा है। मध्यप्रदेश मेडिकल की पढ़ाई हिन्दी भाषा में कराने वाला देश का पहला राज्य बनेगा।
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मुख्यमंत्री “एक दीपक हिन्दी के नाम” कार्यक्रम में हुए शामिल (Medical Ki Padhai Hindi Me-2022)
Medical Ki Padhai Hindi Me-2022 मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान भोपाल के रोशनपुरा चौराहे पर “एक दीपक हिन्दी के नाम” कार्यक्रम में शामिल हुए। उन्होंने दीप प्रज्ज्वलित कर हिन्दी को समर्पित किया। संगठन महामंत्री श्री हितानंद शर्मा, चिकित्सा शिक्षा मंत्री श्री विश्वास सारंग, विधायक श्रीमती कृष्णा गौर और श्री रामेश्वर शर्मा, महापौर श्रीमती मालती राय, पूर्व महापौर श्री आलोक शर्मा, सामाजिक कार्यकर्ता श्री सुमित पचौरी सहित नागरिक उपस्थित थे।
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मेडिकल और इंजीनियरिंग की पढा़ई मातृ-भाषा में होनी चाहिए (Medical Ki Padhai Hindi Me-2022)
Medical Ki Padhai Hindi Me-2022 मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री मोदी का संकल्प है कि मेडिकल और इंजीनियरिंग की पढा़ई मातृ-भाषा में होनी चाहिए। उनके इस संकल्प को पूरा करने के लिए मैंने प्रदेश में मेडिकल की पढ़ाई हिन्दी में कराने का निर्णय़ लिया, जो 16 अक्टूबर को साकार होने जा रहा है। उन्होंने कहा कि जहाँ चाह होती है, वहाँ राह निकल ही आती है। लाखों विद्यार्थी अंग्रेजी नहीं जानने से कुंठित हो जाते थे। अब उन्हें पढ़ाई में कोई बाधा नहीं आएगी और हिन्दी में आसानी से पढा़ई कर सकेंगे। अंग्रेजी के बिना भी हिन्दी में सब कुछ हो सकता है। केन्द्रीय गृह मंत्री श्री अमित शाह रविवार को भोपाल में मेडिकल की पढ़ाई के लिए हिन्दी की पुस्तकों का शुभारंभ करेंगे। मुख्यमंत्री ने भोपाल की जनता और अभिभावकों से कार्यक्रम में शामिल होने का आग्रह किया।
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हिन्दी में मेडिकल की पढ़ाई के आरंभ से शुरू हो रहा है नया युग (Medical Ki Padhai Hindi Me-2022)
Medical Ki Padhai Hindi Me-2022 मुख्यमंत्री शिवराज सिंह शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि हिन्दी माध्यम की शिक्षा कई विद्यार्थियों के जीवन में नया प्रकाश लेकर आयेगी। हिन्दी में मेडिकल की पढ़ाई के साथ एक नया युग शुरू हो रहा है। यह एक सामाजिक क्रांति है। गरीब परिवार का बेटा भी मेडिकल की पढ़ाई के बारे में सोच सकेगा। प्रदेश में मातृ-भाषा हिन्दी में अध्ययन और अध्यापन को प्रोत्साहित करने और हिन्दी के लिए गर्व की अनुभूति उत्पन्न कराने के उद्देश्य से पिछले कई वर्षों से गतिविधियाँ जारी हैं। हिन्दी विश्वविद्यालय की स्थापना, प्रदेश के विभिन्न अंचलों के निवासियों को भावनात्मक रूप से बाँधने के लिए मध्यप्रदेश गीत को कार्यक्रम और उत्सव का भाग बनाने की पहल, पाणिनी संस्कृत विद्यालय की स्थापना और भोपाल में विश्व हिन्दी सम्मेलन का आयोजन इसी उद्देश्य से किया गया। मुख्यमंत्री श्री चौहान आज भारत भवन के अंतरंग सभागार में चिकित्सा शिक्षा विभाग द्वारा आयोजित “हिन्दी की व्यापकता एक विमर्श” कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे।
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मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी द्वारा संकल्प व्यक्त किया गया है कि शिक्षा का माध्यम मातृ-भाषा हो, नई शिक्षा नीति में भी इस भावना का प्रकटीकरण हुआ है। मध्यप्रदेश ने देश में पहली बार मेडिकल की पढा़ई हिन्दी में कराने का संकल्प लिया। चिकित्सा शिक्षा मंत्री श्री विश्वास सारंग के नेतृत्व में हिन्दी में मेडिकल की पाठ्य-पुस्तकें विकसित हुईं। केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री श्री अमित शाह 16 अक्टूबर को भोपाल में मेडिकल की हिन्दी पुस्तकों का लोकार्पण करेंगे। अपनी मातृ-भाषा हिन्दी में शिक्षा को नया आयाम देना हमारे लिए स्वाभिमान और गौरव का क्षण होगा।
मेडिकल की पी.जी. कक्षाओं के लिए भी हिन्दी में पुस्तकें विकसित की जाएंगी (Medical Ki Padhai Hindi Me-2022)
Medical Ki Padhai Hindi Me-2022 मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि चिकित्सा शिक्षा मंत्री श्री विश्वास कैलाश सारंग के नेतृत्व में डॉक्टर्स और विशेषज्ञों की टीम ने मेडिकल की किताबों का अध्ययन कर उन्हें हिंदी में रूपान्तरित किया है। असंभव लगने वाले इस कार्य को चिकित्सा महाविद्यालय की टीम ने समय-सीमा में पूरा कर दिखाया है। मैं आज इस टीम से मिलने और बधाई देने विशेष रूप से आया हूँ। अभी प्रथम वर्ष की पुस्तकें तैयार हुई हैं। द्वितीय वर्ष की किताबों को भी बनाने का कार्य किया जा रहा है। यह कार्य पीजी कक्षाओं के लिए भी जारी रहेगा। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने गांधी चिकित्सा महाविद्यालय भोपाल में मेडिकल की पुस्तकें हिंदी में विकसित करने के लिए स्थापित चिकित्सा शिक्षा विभाग के हिंदी प्रकोष्ठ वॉर रूम मंदार पहुँच कर विषय-विशेषज्ञों से चर्चा में यह बात कही। चिकित्सा शिक्षा मंत्री श्री विश्वास कैलाश सारंग भी उपस्थित थे।
बताया गया कि पुस्तकों के हिन्दी रूपांतरण का कार्य शासकीय चिकित्सा महाविद्यालय के संबंधित विषयों के प्राध्यापक तथा सह-प्राध्यापक द्वारा किया गया है। हिन्दी में पाठ्यक्रम तैयार करने के लिए विषय निर्धारण समिति और सत्यापन कार्य के लिए विषय सत्यापन समितियों का गठन किया गया था। पाठ्यक्रम निर्माण में चिकित्सा छात्रों और अनुभवी चिकित्सकों के सुझाव शामिल किए गए हैं।मुख्यमंत्री श्री चौहान ने हिन्दी में पाठ्यक्रम तैयार करने वाली टीम के राज्य प्रमुख डॉ. लोकेन्द्र दवे से भेंट की। मुख्यमंत्री ने एनॉटामी, फिजियोलॉजी और बायोक्रेमेस्ट्री की पुस्तकें विकसित करने वाली टीम के डॉ. यशवीर, डॉ. देवेन्द्र चौधरी, डॉ. आशीष गोलिया, डॉ. अभिजीत यादव, डॉ. तृप्ति सक्सेना, डॉ. सुबोध पाण्डेय तथा डॉ. सोनिया बावेजा से भी मुलाकात की। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने समय-सीमा में यह कार्य पूर्ण करने के लिए टीम को बधाई और शुभकामनाएँ दी और हिन्दी में पुस्तकें विकसित करने की प्रक्रिया संबंधी जानकारी प्राप्त की।
हिन्दी को लेकर मानसिकता बदलने की आवश्यकता (Medical Ki Padhai Hindi Me-2022)
Medical Ki Padhai Hindi Me-2022 मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि अंग्रेजी के सरल और चलन में आ चुके शब्दों के देवनागरी लिपि में अधिक से अधिक उपयोग से मेडिकल और तकनीकी शिक्षा की पढ़ाई विद्यार्थियों के लिए सरल होगी। हिन्दी को लेकर मानसिकता बदलने की आवश्यकता है। अंग्रेजी भाषा से ही हम समाज में प्रतिष्ठा और सम्मान प्राप्त करते हैं, इस सोच को बदलना होगा। भाषा से व्यक्ति कुंठित हो, उसमें हीन-भावना उत्पन्न हो, इस स्थिति से मुक्ति आवश्यक है। हमें अंग्रेजी के भय को समाप्त करना है। हिन्दी भाषा में पढ़ाई से कस्बों और ग्रामीण परिवेश के विद्यार्थियों को अपनी प्रतिभा के प्रकटीकरण का अवसर मिलेगा। मध्यप्रदेश की यह पहल सामाजिक क्रांति सिद्ध होगी।